top of page

यह पुस्तक भगवान् बुद्ध की महान् जीवन यात्रा के महत्त्वपूर्ण कथा-प्रसंगों का संग्रह है। इसमें यशोधरा और बुद्ध के त्याग, तपस्या, समर्पण की नींव पर आधारित अक्षुण्ण प्रेम को दर्शाया गया है। इस लेखनी में बुद्ध के चरित्र एवं उपदेशों के अलावा मध्ययुगीन भारत की शिल्पकला, राजनीति, वर्ण-व्यवस्था, समाज, धर्म, संस्कृति और अर्थव्यवस्था को भी चित्रित किया गया है। अनेक प्रसंगों में पालि भाषा के वाक्य हिन्दी अर्थ सहित प्रयुक्त किए गए हैं, ये इस साहित्य की मौलिकता को प्रकट करते हैं। पुस्तक की भाषा-शैली सरल, सहज व रुचिकर है। इस कृति की प्रत्येक पंक्ति लेखिका की अनुभूति में डूबी है। बुद्ध की सरल, सर्वोपयोगी और प्राकृतिक नियमों पर आधारित ‘विपश्यना’ को लेखिका ने दीर्घकाल तक अनुभव पर उतारकर वास्तविक भावनाओं की स्याही से इस कृति की रचना की है।

 

---

 

पुस्तक की लेखिका सरला देवी हुड्डा ने राजनीति विज्ञान में स्नातकोत्तर की उपाधि प्राप्त की। उन्होंने चौंतीस वर्षों तक केन्द्रीय विद्यालय संगठन में शिक्षिका के रूप में कार्य किया। स्वाध्याय, लेखनी, ध्यान-साधना उनके जीवन के केंद्र बिंदु हैं। बौद्ध साहित्य के गहन अध्ययन और बुद्ध द्वारा अन्वेषित ‘विपश्यना’ के लाभों को दीर्घकाल तक अनुभव करने के पश्चात् ही उन्होंने इस पुस्तक की रचना की है। इस कृति में प्रेरणादायक, अनुकरणीय और रोचक कथानकों के माध्यम से जन- जन को बुद्ध का संदेश देने का प्रयास किया गया है।

Manavta Ka Surya - Gautam Buddha

SKU: RM458976
₹349.00Price
  •  

bottom of page